सावन का सोमवार महादेव का श्रृंगार बम बम भोलेनाथ कृपा करो बारंबार हाथ में लेकर डमरू शिव ही प्रबंधन गुरु गले में सर्पन माला नमन वंदन मैं करूँ महादेव का तांडव डर गए देव दानव जटा में है गंगा धार पूजन करते मानव शिव है त्रिशूलधारी प्रलय असुर संहारी नटराज का स्वरुप जग होवे बलिहारी मंदिरों में जयकारा ललाट चंदन धारा शिव स्तुति गायन सबका पालनहारा बेल पत्र अति प्रिय पूजा से जगे इन्द्रिय धूप दीप नवैद्य संग सनातन धर्म सक्रिय अजर अमर अविनाशी कैलाश पर्वत के वासी महाकाल उज्जैन विराजे शिव ही विश्वनाथ काशी त्रिपुरारी पाप मिटाओ भवसागर पार कराओ ज्ञान का दीप जला कर सही मार्ग दिखलाओ।
2021-07-31