अपने हिस्से की भूख दबाकर माँ बच्चे को रोटी खिला देती है रोटी में अमृत की बूंदे समा कर प्यार का गागर छलका देती है।  वही बच्चे बड़े होकर भूल जाते बचपन का प्यार दुलार संस्कार न ध्यान रखते न ही सेवा करते बुढ़ापे में छोड़ते  साथ कई बार। पल-पलContinue Reading